Vd. Rajal Shukal

व्यक्तित्व विकास के लिए आंतरिक सौन्दर्य बाह्य सौन्दर्य से श्रेष्ठ है फिर भी बाह्य सौंदर्य आत्मविश्वास को बढ़ाकर व्यक्तित्व को निखार देता है ओर बाल इसका अमूल्य अंग है। आयुर्वेद मे सिर के बालों के लिए केश शब्दप्रयोग मिलता है। केशव्याधि के निष्णात मानते आ रहे हैं कि केश की लंबाई से ज्यादा उसके स्वास्थ्य पर जोर देना चाहिए। बाल शरीर के आभ्यंतर स्वास्थ्य का बेरोमीटर है। जो व्यक्ति अपने बालों को हमेशा सुंदर रखना चाहता है उसे रोजमर्रा के जीवन में उन बातों का ध्यान रखना चाहिए। रोजमर्रा के जीवन मे बालों का ध्यान कैसे रखें? पूरे दिन घर…

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